14 अप्रैल 2014

दलितों के मसीहा

Baba saheb Dr B. R. Ambedkar
दलितों के मसीहा, संविधान निर्माता तुम्‍हें प्रणाम।
कोटि-कोटि जन-जन के, जीवनदाता तुम्‍हें प्रणाम।।

हे युगपुरुष, युगंधर, राष्‍ट्र प्रवर्तक, तुम अध्‍येता।
पुष्टिपुंज, ध्रुवतारा, धूमकेतु, तुम राष्‍ट्र प्रचेता।
न्‍यायप्रिय, न्‍यायिक और न्‍याय समर्थक हो तुम नेता।
अभियोजक, अभिरक्षक, तुम अभिभाषक, तुम अभिनेता।

निर्धन असहायों के सम्‍बल, ताता तुम्‍हें प्रणाम।
कोटि-कोटि जन-जन के, जीवनदाता तुम्‍हें प्रणाम।।

प्रतिपालक, प्रतिरक्षक हो, प्रतिनिधि, प्रतिभू, प्रन्‍यासी।
प्रतिस्‍थापक, प्रतिज्ञाता, प्रतिभाशाली प्रत्‍याशी।
तुम प्रतिपूज्‍य, प्रशासक, पाल, सदृश प्रद्योत प्रकाशी।
प्रखर, प्रधान, प्रभंजक, प्रबल, प्रभाव, प्रणीत, प्रभाषी।

करें अनुकरण और अनुसरण धाता तुम्‍हें प्रणाम। 
कोटि-कोटि जन-जन के जीवनदाता तुम्‍हें प्रणाम।।

1 टिप्पणी:

DR. RAGHUNATH MISHRA 'SAHAJ' ने कहा…

shresht prastuti.
DR.RAGHUNATH MISHRA 'SAHAJ'