सान्निध्य
दोस्त फ़रिश्ते होते हैं. बाक़ी सब रिश्ते होते हैं.
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11 अप्रैल 2013
नव संवत्सर
चैत्र प्रतिपदा से हुआ, संवत्सर आगाज।
पहली है नवरात्र भी, चेटीचंड है आज।
चेटीचंड है आज, द्वार घर बार सजाओ।
बढ़े प्रेम सौहार्द, तीन त्योहार मनाओ।
कह आकुल कविराय, दिनों दिन बढ़े सम्पदा।
स्वास्थ्य के प्रति सचेत, कराए चैत्र प्रतिपदा।
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