छंद-
मनोरम
मापनी-
2122 2122
पदांत-
है
समांत-
अर
आज की ताज़ा खबर है।
बढ़ रहा अब जालघर है।1।
डाइबीटिज रोग का भी,
हर तरफ फैला असर है।2।
टूटते रिश्तों का' बोझा,
आज मोबाइल के सर है।3।
है भरा आक्रोश इतना,
अब न बच्चों में सबर है।4।
अब नहीं माँ बाप का वश,
और कम उनकी कदर है ।5।
बढ़ रहे अपराध इतने
अब पुलिस का भी न डर है।6।
देखते हैं ऊँट बैठे,
कौनसी करवट नज़र है।7।
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