30 मार्च 2024

संंस्‍कार वो दें जिनसे निभाव हो

गीतिका
छंद- इंद्रवंशा (वर्णिक )
मापनी- 221 221 121 212 (त त ज र)
पदांत- हो
समांत- आव
संस्‍कार वो दें, जिनसे निभाव हो।
छोटे बड़ों से, सबसे लगाव हो।1।
.-.
हालात रोकें, फिर भी पढ़ें-लिखें,
माता-पिता को, कुछ ना तनाव हो।2।
.-.
बोलें नहीं बोल, बुरे कभी कहीं,
चाहें तभी दें, कुछ भी सुझाव हो।3।
.-.
झेले सभी कष्‍ट, कभी भुला सकें,
दें संग साथी, उनका चुनाव हो।4।
.-.
मानाकि होता, समयानुसार ही,
तो भी सदा, ईश्‍वर से जुड़ाव हो।5।
.-.
नामी गिरामी, बन के अहं चढ़े,
ऐसे जनों से, अपना दुराव हो ।6।
.-.
कर्तव्‍य दायित्‍व, सदा निभा सकें,
नि:स्‍वार्थ हो, 'आकुल' ना दबाव हो।7।
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